नयी दिल्ली/रांची/पटना/तिरुवनंतपुरम/ केरल के विभिन्न हिस्सों में भारी बारिश हो रही है। इधर मौसम विज्ञान विभाग के तिरुवनंतपुरम केन्द्र ने एक अलर्ट जारी कर कहा है कि लोग सावधान रहें। मसलन, मौसम विभाग ने शनिवार को राज्य के तीन उत्तरी जिलों में दिन के लिए ऑरेंज अलर्ट जारी किया है।
आईएमडी ने कोझिकोड, कन्नूर और कासरगोड में ऑरेंज अलर्ट और प्रदेश के नौ अन्य जिलों के लिए येलो अलर्ट जारी किया है। मौसम विभाग ने दिन में पथनमथिट्टा, अलाप्पुझा, कोट्टयम, इडुक्की और एर्नाकुलम जिलों के कुछ स्थानों में गर्जन और तेज हवाओं के साथ हल्की बारिश का पूर्वानुमान भी जारी किया है।
मौसम विभाग के पूर्वानुमान में बताया गया है कि 14 से 16 जून तक राज्य के मलप्पुरम, कोझिकोड, कन्नूर और कासरगोड जिलों में मध्यम से लेकर भारी बारिश हो सकती है।
आईएमडी ने बताया कि उत्तरी गुजरात और पश्चिम मध्य बंगाल की खाड़ी पर चक्रवात के प्रभाव के कारण अगले पांच दिनों के दौरान केरल में गरज, बिजली और तेज हवाओं के साथ भारी बारिश हो सकती है।
मौसम की चेतावनी के मद्देनजर केरल राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (केएसडीएमए) ने लोगों को पेड़ों के नीचे न खड़े होने या वाहन नहीं खड़े करने को लेकर परामर्श दिया। केएसडीएमए ने कहा कि तेज हवाओं के कारण पेड़ गिर सकते हैं।
अधिकारियों ने छप्पर, चादर या असुरक्षित घरों में रहने वालों को सुरक्षित भवनों में जाने का परामर्श जारी किया है। इस बीच, आईएमडी ने खराब मौसम और तेज हवाओं की संभावना के कारण मछुआरों को 13 से 17 जून तक केरल, कर्नाटक और लक्षद्वीप के तटीय इलाकों में समुद्र में न जाने की सलाह दी है।
भारतीय राष्ट्रीय महासागर सूचना सेवा केंद्र (आईएनसीओआईएस) ने भी कहा कि रविवार तक केरल और तमिलनाडु तटों पर ऊंची लहरें और तूफान आने की संभावना है इसलिए मछुआरे अपनी सुरक्षा को ध्यान रख कर अपना कार्य करें।
इधर एक निजी वेबसाइट ने जानकारी दी है कि समुद्र तल पर मानसून लगातार प्रवाहित हो रहा है। मानसून अमृतसर, चंडीगढ़, मेरठ, शाहजहांपुर, बाराबंकी, मुजफ्फरपुर, आसनसोल, कृष्णानगर और फिर पूर्व दक्षिण-पूर्व की ओर बंगाल की खाड़ी के उत्तर-पूर्व की ओर से गुजर रहा है।
उत्तर-पूर्व असम और उसके आसपास के इलाकों में एक चक्रवाती संरचना बनने की बात बतायी जा रही है। एक आसमानी घाटी पूर्वाेत्तर असम से लेकर उत्तर-पश्चिम बंगाल की खाड़ी तक समुद्र तल से 0.9 किलोमीटर ऊपर बना है। इसका असर मौसम पर पड़ने की पूरी संभावना बतायी जा रही है।
मौसम विज्ञान विभाग की ओर से बताया गया है कि एक चक्रवाती संरचना उत्तरी गुजरात और उसके आसपास के इलाकों में समुद्र तल से 3.1 किलोमीटर ऊपर बना हुआ है। एक एक आकाशीय घाटी दक्षिण गुजरात तट से उत्तरी केरल तट तक फैली हुई है।
पिछले 24 घंटों के दौरान, कोंकण और गोवा, केरल और तटीय कर्नाटक में मध्यम से भारी बारिश हुई। छत्तीसगढ़, तटीय आंध्र प्रदेश, मध्य प्रदेश और अंडमान और निकोबार द्वीप समूह के कुछ हिस्सों में हल्की से मध्यम बारिश के साथ कुछ भारी बारिश भी रिकार्ड की गयी। उत्तराखंड और अरुणाचल प्रदेश में हल्की से मध्यम बारिश के साथ एक या दो बार भारी बारिश हुई।
राजस्थान, हिमाचल प्रदेश, जम्मू कश्मीर, पंजाब के कुछ हिस्सों, पूर्वाेत्तर भारत, सिक्किम, पश्चिम बंगाल, बिहार, झारखंड, ओडिशा के कुछ हिस्सों, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, तेलंगाना, आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु और लक्षद्वीप में हल्की से मध्यम बारिश हुई। पिछले 24 घंटों में आंतरिक कर्नाटक, विदर्भ और मराठवाड़ा में भी हल्की बारिश हुई है।
अगले 24 घंटों में कोंकण और गोवा, तटीय कर्नाटक और केरल में मध्यम से भारी बारिश संभव है। उत्तराखंड, असम, मेघालय, अरुणाचल प्रदेश, मध्य प्रदेश, मध्य महाराष्ट्र, दक्षिण गुजरात, विदर्भ, तेलंगाना के कुछ हिस्सों और अंडमान और निकोबार द्वीप समूह में हल्की से मध्यम बारिश के साथ कुछ स्थानों पर भारी बारिश हो सकती है।
लक्षद्वीप, हिमाचल प्रदेश, हरियाणा, पंजाब, उत्तर प्रदेश, बिहार, झारखंड, मराठवाड़ा, पश्चिम बंगाल, ओडिशा, आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु और लक्षद्वीप में हल्की से मध्यम बारिश हो सकती है। लद्दाख, जम्मू कश्मीर, पश्चिम बंगाल के गंगीय क्षेत्र, सौराष्ट्र और कच्छ, रायलसीमा, आंतरिक कर्नाटक, तमिलनाडु, मणिपुर, मिजोरम, त्रिपुरा, राजस्थान और दिल्ली में हल्की बारिश संभव है।
इधर असम में बाढ़ के कारण उत्पन्न स्थिति फिलहाल सुधरती नजर नहीं आ रही है। इससे शुक्रवार तक राज्य के 26 जिलों के लगभग 14 लाख लोग प्रभावित हुए हैं। असम में बाढ़ के कारण उत्पन्न स्थिति फिलहाल सुधरती नजर नहीं आ रही है जिसका अंदाजा इससे लगाया जा सकता है कि शुक्रवार तक राज्य के 26 जिलों के लगभग 14 लाख लोग प्रभावित हैं।
एक आधिकारिक रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई कि असम में बाढ़ से बहुत नुकशान हो चुका है। इसमें कहा गया है कि ब्रह्मपुत्र सहित कई प्रमुख नदियां राज्य के विभिन्न हिस्सों में खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं। इस वर्ष बाढ़, तूफान और आकाशीय बिजली गिरने की घटनाओं में जान गंवाने वालों की संख्या 99 तक पहुंच गई है। रिपोर्ट में कहा गया है कि 26 जिलों के 83 राजस्व सर्किल और 2,545 गांवों में 13,99,948 लोग प्रभावित हैं।
बाढ़ के कारण प्रभावित जिलों में कछार, बारपेटा, कामरूप, नगांव, धुबरी, विश्वनाथ, गोलाघाट, ग्वालपाडा, हैलाकांडी, शिवसागर, डिब्रुगढ़, मोरीगांव, तिनसुकिया, नलबाड़ी, धेमाजी, दक्षिण सलमारा, लखीमपुर, करीमगंज, चराईदेव, बोंगाईगांव, कोकराझार, दरांग, जोरहाट, कामरूप मेट्रोपॉलिटन, माजुली और चिरांग शामिल हैं।
बुधवार तक 25 जिलों की प्रभावित लोगों की संख्या 14,38,900 थी. धुबरी में सबसे सबसे ज्यादा 2,41,186 लोग प्रभावित हैं, इसके बाद कछार (1,60,889) और दरांग (1,08,125) हैं।
वर्तमान में, 41,596 विस्थापित लोग 189 राहत शिविरों में आश्रय लिये हुए हैं, जबकि अन्य 110 राहत शिविरों में 72,847 लोग ठहरे हुए हैं। राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ) और स्थानीय प्रशासन सहित कई एजेंसियां राहत और बचाव कार्यों में जुटी हैं।
ब्रह्मपुत्र नदी नेमाटीघाट, तेजपुर और धुबरी में खतरे के निशान से ऊपर बह रही है, जबकि बुरहिडीहिंग खोवांग, नांगलमुराघाट में दिसांग और करीमगंज के कुशियारा में चेतावनी निशान से ऊपर बह रही है। रिपोर्ट में कहा गया कि विभिन्न प्रभावित जिलों से मकान, पुल, सड़क और तटबंधों सहित विभिन्न बुनियादी ढांचे को नुकसान पहुंचने की खबरें हैं।