पसमांदा मुसलमानों ने अपनी पहचान के लिए दिल्ली में किया बड़ा आयोजन

जनलेख डायरी अभी कुछ ही दिन पहले की बात है। पसमांदा समाज यानी पिछड़े मुसलमनों के एक संगठन, पसमांदा विकास फाउंडेशन ने एक कार्यक्रम का

राष्ट्रीय आस्था का मापदंड धार्मिक या व्यक्तिगत पहचान नहीं हो सकता 

गौतम चौधरी अभी कुछ दिन पहले उत्तराखंड के दुर्गम इलाके में, एक ध्वस्त सुरंग में फंसे 41 निर्माण श्रमिकों को बचाने में जिस प्रकार देश

Translate »