अमेरिकी फंडिंग और भारतीय राजनीति : हित या हस्तक्षेप?

डॉ ब्रजेश कुमार मिश्र डोनाल्ड ट्रम्प ने 20 जनवरी को दूसरी बार अमेरिकी राष्ट्रपति की शपथ लेने के बाद ‘संयुक्त राज्य अमेरिका की विदेशी सहायता’

पसमांदा मुसलमानों ने अपनी पहचान के लिए दिल्ली में किया बड़ा आयोजन

जनलेख डायरी अभी कुछ ही दिन पहले की बात है। पसमांदा समाज यानी पिछड़े मुसलमनों के एक संगठन, पसमांदा विकास फाउंडेशन ने एक कार्यक्रम का

शिक्षा और आर्थिक आत्मनिर्भरता ही मुसलमानों को बनाएगा सशक्त

मौलाना ए. आर. शाहीन कासमी हमारा देश भारत, जहां विभिन्न धर्मों, भाषाओं और संस्कृतियों के लोग रहते हैं, में हर समाज के लोगों को समान

जनता की वास्तविक जानकारी का एक मात्र आधार जनगणना, इसी से सामने आएगी आम लोगों की हकीकत

आकार पटेल केंद्र सरकार कहती है कि भारत में जनगणना देश के लोगों की विभिन्न विशेषताओं पर विभिन्न सांख्यिकीय जानकारी हासिल करने का सबसे बड़ा

आपसी विश्वास को मजबूत बनाएगा इंटरफेथ संवाद, इससे कट्टरता पर भी लगेगा अंकुश 

गौतम चौधरी  भारत में कट्टरपंथीकरण और चरमपंथी विचारधाराओं की बढ़ती चुनौती सामाजिक सद्भाव और राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए एक महत्वपूर्ण खतरा है। हालांकि कट्टरपंथ की

मुख्य चुनाव आयुक्त की नियुक्ति को लेकर आखिर कांग्रेस को किस बात की आपत्ति है?

रामस्वरूप रावतसरे प्रधानमंत्री की अध्यक्षता में तीन सदस्यों वाली समिति की बैठक में सोमवार को चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार को भारत का मुख्य चुनाव आयुक्त

प्रयागराज महाकुंभ 2025 : जब हैदराबाद के निजाम मीर उस्मान अली ने श्रद्धालुओं के लिए भेजा था मोबाइल अस्पताल

सैयद शाह वाइज 1941 के कुंभ मेले के दौरान, हैदराबाद के निजाम मीर उस्मान अली ने हजारों श्रद्धालुओं को मुफ्त चिकित्सा सेवा मुहैया कराने के

भारत और मध्य एशिया : PM मोदी की स्वतंत्र विदेश नीति का एक आदर्श मॉडल

गीतेश सरमा रूस, चीन और पश्चिम के बीच संघर्ष और टकराव की पृष्ठभूमि में स्वतंत्र विदेश नीतियों को आगे बढ़ाने के लिए भारत, मध्य एशियाई

भारत-US संबंध : तो क्या अब टैरिफ तय करेगा वैश्विक-कूटनीति की दिशा?

प्रमोद जोशी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की वॉशिंगटन-यात्रा के दौरान कोई बड़ा समझौता नहीं हुआ। वैसे संबंधों का महत्वाकांक्षी एजेंडा ज़रूर तैयार हुआ है। यात्रा के

बांग्लादेशी प्रधानमंत्री मुहम्मद यूनुस की लोकप्रियता में भारी गिरावट के संकेत

स्वदेश रॉय बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी और अंतरराष्ट्रीय समुदाय सहित अधिकांश राजनीतिक दल त्वरित और समावेशी चुनाव चाहते थे। फिर भी, यूनुस ने गिदोन राचमैन के

1 5 6 7 8 9 91
Translate »